पटना. बिहार विधानसभा चुनाव 2025 में राष्ट्रीय जनता दल (राजद) की करारी हार (केवल 25 सीटें) के एक दिन बाद पूर्व सीएम लालू प्रसाद यादव की बेटी रोहिणी आचार्य ने राजनीति छोड़ने और परिवार से नाता तोड़ने का ऐलान कर दिया। एक्स पर पोस्ट कर उन्होंने कहा, “मैं राजनीति छोड़ रही हूं और परिवार को त्याग रही हूं।
यह संजय यादव और रमीज ने मुझसे कहा था, और मैं सारी जिम्मेदारी ले रही हूं।” रोहिणी ने तेजस्वी यादव के करीबी संजय यादव (राज्यसभा सांसद) और रमीज नेमत खान पर आरोप लगाया कि उन्होंने उन्हें परिवार और पार्टी से बाहर निकाला।
नीतीश की ‘पंचकर्म’ ने बहाल की एनडीए की ताकत: महिलाओं का वोट, चिराग का साथ बने जीत के सूत्रधार
पटना एयरपोर्ट पर पत्रकारों से बातचीत में रोहिणी ने कहा, “मेरा कोई परिवार नहीं। तेजस्वी यादव, संजय यादव और रमीज से पूछो। उन्होंने मुझे घर से निकाला, अपमानित किया, गालियां दीं। संजय यादव और रमीज का नाम लेने पर जूते-चप्पल मारे जाते हैं।” उन्होंने कहा कि चुनाव हार पर पूरे देश का सवाल है, लेकिन जवाबदेही लेने वाले को दंड मिलता है। रोहिणी ने 2024 लोकसभा चुनाव में सरान से हार का जिक्र किया, जहां वे राजीव प्रताप रूडी से हार गईं। उन्होंने तेजस्वी के ‘चाणक्य’ (संजय यादव) पर निशाना साधा।
जनता दल (यूनाइटेड) के वरिष्ठ नेता अशोक चौधरी ने इसे “दुर्भाग्यपूर्ण” बताया। IANS से बातचीत में बोले, “परिवार व्यथित है। लालू यादव की हालत गंभीर है, ऊपर से एकता की कमी। पार्टी का भविष्य अनिश्चित है।”
राजद में हार का असर:
- महागठबंधन 35 सीटों पर सिमटा, NDA ने 202 जीती।
- तेजस्वी यादव ने हार स्वीकार की, लेकिन रोहिणी का बयान पार्टी में दरार दिखाता है।
- BJP नेता राम कृपाल यादव ने कहा, “लालू परिवार ने बेटी और बड़े बेटे को राजनीतिक महत्वाकांक्षा के लिए बलि चढ़ा दी।”
विश्व कप हीरो दीप्ति शर्मा से मिले सीएम योगी: ‘उनके शब्दों ने नई ऊर्जा दी’
रोहिणी ने पहले तेजस्वी का समर्थन किया था, लेकिन हार के बाद एक्स हैंडल्स अनफॉलो कर लिया। संजय यादव हरियाणा मूल के RJD राज्यसभा सांसद हैं, रमीज तेजस्वी के करीबी।





