Home » विविध इंडिया » दलित IPS पूरन कुमार आत्महत्या मामले में NCSC का मुख्य सचिव और DCP को नोटिस, 7 दिनों में रिपोर्ट मांगी

दलित IPS पूरन कुमार आत्महत्या मामले में NCSC का मुख्य सचिव और DCP को नोटिस, 7 दिनों में रिपोर्ट मांगी

NCSC Notice in Dalit IPS Y Puran Kumar Suicide Case
Facebook
Twitter
WhatsApp

हरियाणा कैडर के वरिष्ठ दलित आईपीएस अधिकारी वाई. पूरन कुमार की गोली मारकर की गई आत्महत्या के बाद एनसीएससी ने स्वतः संज्ञान लिया, जिसमें जातिगत भेदभाव व मानसिक उत्पीड़न के आरोपों की गहन जांच का आदेश दिया।


 

चंडीगढ़। शांत निवास में 7 अक्टूबर 2025 को हरियाणा कैडर के वरिष्ठ दलित आईपीएस अधिकारी वाई. पूरन कुमार ने खुद को गोली मार ली। रुड़की के मूल निवासी 52 वर्षीय पूरन ने अपनी 8-9 पेज की सुसाइड नोट में 12 वरिष्ठ अधिकारियों, जिनमें डीजीपी शत्रुजीत सिंह कपूर, रोहतक एसपी नरेंद्र बिजरनिया समेत 9 सक्रिय आईपीएस, एक रिटायर्ड आईपीएस और 3 रिटायर्ड आईएएस शामिल हैं, पर जातिगत भेदभाव, मानसिक उत्पीड़न, सार्वजनिक अपमान और प्रशासनिक साजिशों का गंभीर आरोप लगाया।

नोट में उन्होंने 2020 से चली आ रही ‘सिस्टमेटिक ह्यूमिलिएशन’ का जिक्र किया, जैसे मंदिर दर्शन पर सवाल, पिता की मृत्यु से पहले छुट्टी न मिलना, फर्जी प्रोसीडिंग्स और रिश्वत के झूठे केस।

NCSC Notice in Dalit IPS Y Puran Kumar Suicide Case

एनसीएससी का सख्त रुख

नेशनल कमीशन फॉर शेड्यूल्ड कास्ट्स (NCSC) ने 9 अक्टूबर को इस हृदयविदारक घटना पर स्वतः संज्ञान लिया और चंडीगढ़ के मुख्य सचिव व डीजीपी को नोटिस जारी किया। संविधान के अनुच्छेद 338 के तहत जारी इस नोटिस में 7 दिनों (17 अक्टूबर तक) के भीतर कार्रवाई रिपोर्ट मांगी गई है।

जैश-ए-मोहम्मद का नया खतरा: महिला ब्रिगेड ‘जमात-उल-मोमिनात’ का गठन, मसूद अजहर की बहन सादिया बनी कमांडर


रिपोर्ट में सभी आरोपियों के नाम, दर्ज एफआईआर की संख्या व धाराएं, गिरफ्तारी की स्थिति और पीड़ित परिवार को मुआवजा (यदि कोई) का ब्योरा शामिल होना अनिवार्य है। आयोग ने चेतावनी दी कि देरी पर सिविल कोर्ट की शक्तियों का इस्तेमाल कर समन जारी किया जाएगा।

यह कदम दलित अधिकारों की रक्षा और निष्पक्ष जांच सुनिश्चित करने के लिए उठाया गया, क्योंकि पूरन की पत्नी अमनीत पी. कुमार (आईएएस) ने भी डीजीपी व एसपी पर आत्महत्या के लिए उकसाने का आरोप लगाते हुए शिकायत दर्ज की।

NCSC Notice in Dalit IPS Y Puran Kumar Suicide Case

परिवार का आक्रोश

पूरन की पत्नी अमनीत, जो जापान में हरियाणा सीएम नायब सिंह सैनी के प्रतिनिधिमंडल में थीं, ने 9 अक्टूबर को सीएम को पत्र लिखकर एफआईआर की मांग की। उन्होंने कहा कि रोहतक में उनके गनमैन सुशील पर रिश्वत के फर्जी केस (एफआईआर 319/2025, धारा 308(3) बीएनएस) में पूरन को फंसाने की साजिश रची गई।

मुजफ्फरनगर में ‘बीमार अस्पताल’ का काला कारनामा उजागर, DM ने CMO को सौंपा ‘ईलाज’ का जिम्मा, जल्द होगी ‘सर्जरी’!

परिवार ने साफ कहा कि एफआईआर न होने तक पोस्टमॉर्टम व अंतिम संस्कार नहीं होगा। चंडीगढ़ पुलिस ने सुसाइड नोट व वसीयत बरामद की है, लेकिन एफआईआर में देरी से सवाल उठ रहे हैं।

 

हरियाणा सीएम सैनी से मुलाकात के बावजूद परिवार अडिग है, जो सिस्टम की लापरवाही को आईना दिखा रहा है।

 

सिस्टम पर सवाल

यह घटना हरियाणा पुलिस में जातिगत भेदभाव के लंबे इतिहास को उजागर करती है, जहां पूरन ने 2020 से ही अनियमित प्रमोशन व उत्पीड़न के खिलाफ आवाज उठाई थी।

राष्ट्रपति मेडल प्राप्त यह अधिकारी हाल ही में 29 सितंबर को रोहतक जेल (गुरमीत राम रहीम की जेल) में ट्रांसफर हुए थे। एनसीएससी का हस्तक्षेप जांच को गति दे सकता है, लेकिन विशेषज्ञों का मानना है कि बिना स्वतंत्र प्रॉब में सच्चाई दब सकती है।

आयोग ने चंडीगढ़ दौरा करने का संकेत भी दिया, जो दबाव बढ़ाएगा। दलित समुदाय में यह मामला आक्रोश का प्रतीक बन चुका है, जहां #JusticeForYPuranKumar जैसे हैशटैग सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे हैं।

ADVT_WhatsAPP_The X India_Web