- ‘द एक्स इंडिया’ के लिए प्रधान संपादक अमित सैनी की रिपोर्ट
पश्चिमी उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर में अवैध शस्त्रों का गोरखधंधा पकड़ा गया! जिले में पुलिस ने मौत का सामान बनाने का गोरखधंधा पकड़ा है। खास बात ये है कि पकड़े गए सात आरोपियों ने मौत के सामान की ये दुकान सोशल मीडिया साइट इंस्टाग्राम पर सजाई हुई थी।
तमंचे और कारतूस की डील ऑनलाइन पेमेंट से तय होती थी। ककरौली पुलिस ने इस डिजिटल गुंडागर्दी का भंडाफोड़ कर दिया।

पुलिस की चौकसी और मुखबिर का कमाल
26 अक्टूबर 2025 को ककरौली पुलिस गश्त पर थी। तभी मुखबिर ने खबर दी कि आश्रम चौराहे के पास यात्री शेड में कुछ ‘हथियारबाज’ बैठे हैं। पुलिस ने तेजी दिखाई, दबिश दी और सातों आरोपियों को धर दबोचा। एक ने तो पुलिस पर फायर भी किया, मगर पुलिस ने चकमा देकर सबको पकड़ लिया।
बरामदगी ने उड़ाए होश
पुलिस ने आरोपियों के कब्जे से 13 तमंचे (315 बोर), 1 तमंचा (12 बोर), 10 कारतूस, 24 खोखे, एक प्लेटिना मोटरसाइकिल और 1800 रुपये नगद बरामद किए। यह बरामदगी देख मोहल्ले वालों की आंखें फटी रह गईं।

डिजिटल गुंडों की टोली
पकड़े गए शातिरों में अभिषेक (23), निखिल (22), नितिन (24), विशाल उर्फ गोली (22), समीर (22), चिन्टू (23) और संजीव (40) शामिल हैं। ये इंस्टाग्राम पर तमंचे की फोटो डालकर ग्राहक तलाशते थे। 5000 रुपये में तमंचा और ऑनलाइन पेमेंट का खेल चल रहा था।
पुलिस की ‘चालबाजी’
इन ‘इंस्टा गुंडों’ ने सोचा था कि डिजिटल दुनिया में कोई पकड़ नहीं सकता, मगर ककरौली पुलिस ने बाज की तरह झपट्टा मारा। मौत के सामान के ये सौदागर सोचते रह गए और पुलिस ने इनके ‘शस्त्र शो’ को फ्लॉप कर दिया।
कानूनी शिकंजा और पुरस्कार
पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर सभी आरोपियों को जेल भेजने की तैयारी शुरू कर दी। अभिषेक और नितिन का पहले से आपराधिक रिकॉर्ड है। SSP संजय कुमार वर्मा ने इस शानदार कार्रवाई के लिए पुलिस टीम को 15,000 रुपये के पुरस्कार से नवाजा।
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