दिल्ली के लाल किले के पास 11 नवंबर को हुआ आतंकी हमला पूरे देश में गुस्से की लहर दौड़ा गया। हमले में 12 निर्दोष लोग मारे गए, जबकि 45 घायल हुए। इस घटना ने राष्ट्रीय सुरक्षा पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए।
मुजफ्फरनगर में विरोध प्रदर्शन
मुजफ्फरनगर जनपद में भी लोगों ने इस हमले के खिलाफ अपनी नाराजगी जताई। मंगलवार देर शाम हिंदू युवा वाहिनी के कार्यकर्ताओं ने शहर के प्रमुख स्थल शिव चौक पर कैंडल मार्च निकाला।
कैंडल मार्च का उद्देश्य
मार्च का मुख्य उद्देश्य हमले में मारे गए निर्दोष लोगों को श्रद्धांजलि अर्पित करना था। कार्यकर्ताओं ने मोमबत्तियां जलाकर शांति और एकता का संदेश दिया।

नेतृत्व और नारे
मार्च का नेतृत्व हिंदू युवा वाहिनी के क्षेत्रीय संगठन मंत्री प्रहलाद पाहुजा ने किया। इस दौरान कार्यकर्ताओं ने “आतंकवाद मुर्दाबाद”, “देश के गद्दारों को फांसी दो” और “हत्यारों को सजा दो” जैसे नारे लगाते हुए आतंकवाद के खिलाफ कड़ा विरोध दर्ज कराया।
प्रहलाद पाहुजा का बयान
मीडिया से बातचीत में प्रहलाद पाहुजा ने कहा कि दिल्ली का हमला बेहद निंदनीय और कायरतापूर्ण कृत्य है। उन्होंने बताया कि इसमें कई निर्दोष लोगों की जान गई है।
संदिग्धों पर सवाल
पाहुजा ने कहा कि हमले में शामिल कुछ संदिग्धों का डॉक्टर होना बेहद शर्मनाक है। डॉक्टर समाज में जीवनदाता माने जाते हैं, लेकिन ऐसे लोग मानवता के लिए कलंक हैं।
सरकार से मांगें
उन्होंने मांग की कि सरकार आतंकियों को कड़ी से कड़ी सजा दे। साथ ही उत्तर प्रदेश में स्थित सभी संदिग्ध मस्जिदों और मदरसों की गहन जांच कराए, जहां इस तरह की साजिशें रची जा सकती हैं।
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कार्यक्रम में उपस्थिति
कार्यक्रम के दौरान हिंदू युवा वाहिनी के कई पदाधिकारी और कार्यकर्ता मौजूद रहे। सभी ने आतंकवाद के खिलाफ सख्त कदम उठाने की मांग की।
आतंकवाद के खिलाफ संकल्प
कैंडल मार्च ने न केवल श्रद्धांजलि दी, बल्कि आतंकवाद के खिलाफ एकजुटता का संदेश भी दिया। मुजफ्फरनगर ने दिल्ली के दर्द को अपना दर्द बनाया।





