- मुजफ्फरनगर से अमित सैनी की रिपोर्ट
पश्चिमी उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर के मीरापुर टोल प्लाजा पर शुक्रवार को भीम आर्मी और आजाद समाज पार्टी (आसपा) के कार्यकर्ताओं के प्रदर्शन ने हिंसक रूप ले लिया। प्रदर्शनकारियों पर टोल प्लाजा पर कब्जा करने, तोड़फोड़ करने और टोल फ्री कराने का आरोप है। सूचना मिलने पर मौके पर पहुंची पुलिस के साथ कार्यकर्ताओं की तीखी झड़प और धक्का-मुक्की की घटना भी सामने आई। इस दौरान आजाद समाज पार्टी के युवा जिला प्रभारी हुमायूं सिद्दीकी और भीम आर्मी के पूर्व विधानसभा अध्यक्ष गौतम रवि को पुलिस ने हिरासत में लिया, लेकिन भीड़ ने दोनों को छुड़ा लिया।
टोल प्लाजा पर हंगामे की शुरुआत
घटना की शुरुआत तीन दिन पहले टोल कर्मियों और हुमायूं सिद्दीकी के बीच हुए विवाद से मानी जा रही है। जानकारी के अनुसार, हुमायूं और टोल कर्मियों के बीच किसी बात को लेकर तीखी नोकझोंक हुई थी। इसके बाद हुमायूं ने टोल प्लाजा पर धरना-प्रदर्शन कर इसे टोल फ्री करने की चेतावनी दी थी। 6 जून को यानी आज अल्टीमेटम के अनुसार, हुमायूं सिद्दीकी सैकड़ों कार्यकर्ताओं के साथ मीरापुर टोल प्लाजा पर पहुंचे और प्रदर्शन शुरू कर दिया। प्रदर्शन के दौरान कार्यकर्ताओं ने टोल प्लाजा पर कब्जा करने की कोशिश की और तोड़फोड़ के आरोप भी लगे।
पुलिस के साथ तीखी झड़प
जैसे ही टोल प्लाजा पर हंगामे की सूचना पुलिस को मिली, मीरापुर थाना प्रभारी बबलू वर्मा अपनी टीम के साथ मौके पर पहुंचे। स्थिति को नियंत्रित करने की कोशिश के दौरान पुलिस और प्रदर्शनकारियों के बीच तीखी झड़प हो गई। इस दौरान हुमायूं सिद्दीकी और थाना प्रभारी बबलू वर्मा के बीच तीखी नोकझोंक का वीडियो सामने आया है, जिसमें आक्रोशित इंस्पेक्टर द्वारा हुमायूं के साथ धक्का-मुक्की की गई। स्थिति तब और बिगड़ गई जब पुलिस ने हुमायूं सिद्दीकी और गौतम रवि को हिरासत में ले लिया।
भीड़ ने छुड़ाए हिरासत में लिए गए नेता!
हिरासत की कार्रवाई के बाद भीम आर्मी और आसपा के कार्यकर्ताओं का गुस्सा और भड़क गया। सैकड़ों की संख्या में मौजूद भीड़ ने पुलिस पर दबाव बनाया और हिरासत में लिए गए हुमायूं सिद्दीकी और गौतम रवि को जबरन छुड़ा लिया। इस दौरान भीड़ और पुलिस के बीच धक्का-मुक्की की स्थिति बनी रही। पुलिस ने स्थिति को नियंत्रित करने के लिए अतिरिक्त बल बुलाया, लेकिन कार्यकर्ताओं की भारी भीड़ के सामने पुलिस को पीछे हटना पड़ा।
टोल प्लाजा जलाने की धमकी
प्रदर्शन के दौरान हुमायूं सिद्दीकी ने टोल प्लाजा में आग लगाने की भी सनसनीखेज धमकी दी, जिसने स्थिति को और तनावपूर्ण बना दिया। इस धमकी ने न केवल टोल कर्मियों बल्कि स्थानीय प्रशासन को भी सतर्क कर दिया है। पुलिस ने इस बयान को गंभीरता से लेते हुए मामले की जांच शुरू कर दी है। टोल कर्मियों का कहना है कि इस तरह की धमकियों से उनके बीच डर का माहौल है और वे सुरक्षित कार्य करने में असमर्थ महसूस कर रहे हैं।
#मुजफ्फरनगर: मीरापुर टोल प्लाजा पर ‘बवाल’!
◆ भीम आर्मी और असपा का हंगामा
◆ कार्यकर्ताओं की पुलिस से तीखी झड़प,
◆ मीरापुर थाना प्रभारी और हुमायूं सिद्दीकी की तीखी नोंकझोंक, VIDEO
◆ भीड़ ने छुड़ाए हिरासत में लिए गए हुमायूं सिद्दीकी और गौतम रवि
◆ टोल पर तोड़फोड़ का आरोप… pic.twitter.com/rkrQuLnNjF
— The X India (@thexindia) June 6, 2025
पहले भी हो चुके हैं विवाद
मुजफ्फरनगर और आसपास के क्षेत्रों में भीम आर्मी और आजाद समाज पार्टी के कार्यकर्ताओं का पुलिस के साथ टकराव कोई नई बात नहीं है। पहले भी कई मौकों पर इन संगठनों के प्रदर्शन हिंसक रूप ले चुके हैं। उदाहरण के लिए, 2019 में भीम आर्मी प्रमुख चंद्रशेखर आजाद को सहारनपुर में एक रैली के दौरान हिरासत में लिया गया था, जिसके बाद उनके समर्थकों ने सड़कों पर हंगामा किया था। इसी तरह, मई 2025 में आगरा में भीम आर्मी कार्यकर्ताओं और पुलिस के बीच अस्पताल में टाइल्स लगाने को लेकर झड़प की खबरें सामने आई थीं।
क्या कहते हैं अधिकारी?
टोल फ्री कराने को लेकर पुलिस और प्रदर्शनकारियों के बीच मामूली सी कहासुनी हुई थी। उन्हें समझाकर वापस भेज दिया गया। तोड़फोड़ की अभी कोई शिकायत नहीं मिली है। अगर टोल प्लाजा कर्मचारियों की तरफ से लिखित में कोई शिकायत दी जाती है तो निश्चित तौर पर कार्रवाई की जाएगी। -आदित्य बंसल, एसपी देहात